मनुष्य जीवन का एक मात्र सत्य है और वे है मृत्यु | इस संसार में जो आया है उसका इस संसार से जाना तय है | किन्तु मनुष्य चाहता है वे दीर्घायु हो और जीवन में उसे कभी भी किसी भी प्रकार की कोई कठिनाई या अड़चन न आये | अड़चन, कठिनाई, समस्या इत्यादि सब जीवन का ही हिस्सा हैं केवल इसको देखने का दृष्टिकोण सबका अलग होता हैं | यह किताब जीवन के दृष्टिकोण को सकारात्मक रूप में दर्शाती है | इस किताब में जीवन को देखने का एक भिन्न और सकारात्मक रूप दिया हैं | लेखिका ने इस किताब के माध्यम से अपने जीवन को सरल और सकारात्मक बनाने के बारे में वर्णन किया है | किताब को छोटे-छोटे खंड में बांटा गया हैं और प्रत्येक खंड को पूर्ण वर्णित किया गया हैं |
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