Share this book with your friends

Teri gali me / तेरी गली में कविता संग्रह

Author Name: Anuj subrat | Format: Hardcover | Genre : Poetry | Other Details

यह किताब अनुज सुब्रत की बेहतरीन कविताओं का संग्रह है, जिसमें 'सुब्रत' की कविताओं में एक अलग ही दुनिया का ज़िक्र, एक अलग ही नयापन और हिंदी और उर्दू का एक अनूठा-सा ज़ायक़ा मिलता है। सुब्रत की यह कविताएं आमतौर पर दर्द और इश्क़ से ताल्लुक़ रखती है, इन कविताओं में हर उस कोने का ज़िक्र मिलता है जहाँ तक प्रेम का प्रकाश है और उस अंधेरे का भी ज़िक्र मिलता है जहाँ प्रेम का प्रकाश नही सिर्फ दर्द है और साथ ही एक अकेलेपन की भी बात मिलती है।
जिसका एक अनूठा उदाहरण है, 

"सब कुछ छूटा हुआ है 
बचपन हिज़्र-सा हुआ है।  

हर कोई जा रहा है इस जहां को छोड़ के 
लगता है अंबर में कोई मसीहा हुआ है।
  
ममता में ग़ैर माँओं के पैर क्या छुए मैंने 
उनको लगा उनका बेटा मौत-सा हुआ है। 

चाहत थी खिलौनों की, बचपन में हमे 
अब जवानी में उनसे बैर कैसा हुआ है।"     

Read More...
Hardcover

Ratings & Reviews

0 out of 5 ( ratings) | Write a review
Write your review for this book
Hardcover 300

Inclusive of all taxes

Delivery

Item is available at

Enter pincode for exact delivery dates

अनुज सुब्रत

नाम :- अनुज सुब्रत जन्म स्थान :- मोतीपुर, बिहार जन्म तिथि :-14 फरवरी 2002 उम्र :-17 वर्ष

Read More...

Achievements