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‘फ्लैशबैक’ शैली में लिखी गई ‘गुमशुदा बच्चे’ दो ऐसे बालकों की  कथा है, जो अपने-अपने पिता की लाचारी की वजह से बालीउम्र में ही काम-कमाई करने के लिए घर से निकल पड़ते हैं, तभी उनका अपहरण हो जाता है। ये बच्चे  अपह्र्ताओं से जिस तरह मुक्त होते हैं, वही उपन्यास का रोमांच है?      
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