पुस्तक के बारे में....
ये ग़ज़ल का संग्रह कवि की प्रथम प्रस्तुति है इसलिए इस संग्रह का नाम ग़ज़ल-गो ने 'इब्तिदा' रखा जिसका
अर्थ होता है शुरुआत! प्रायः उर्दू के शब्द अरबी और फ़ारसी से प्राप्त या व्युतपन्न होते हैं चुनाँचे ग़ज़ल के बाद
मुश्क़िल अल्फ़ाज़ का तर्जुमा किया गया है ताकि ग़ज़ल का संपूर्ण मज़ा लिया जा सके! अंत में कुछ चुनिंदा
अश'आर भी दिए गए हैं ताकि ग़ज़ल के अलावा आप इनका भी रसास्वादन कर सकें! चलिए अब इब्तिदा करते
हैं...